परं धाम परं ब्रह्म परेशं परमीश्वरम ।विघ्न निघ्न्करम शान्तं पुष्टं कान्त्मनंत्क्म॥सुरसुरेंद्रे : सिद्धेंद्रे : स्तुतं स्तौमि परात्परं ।सुरपद्म दिनेशं च गणेशं मंग्लायतम ॥इदं स्तोत्रं महापुण्यं विघ्न शोकं हरं परम ।यः पठेत प्रात रुत्थाय सर्व विघ्नात प्रमुच्यते ॥
Adminblogs
AdminBlog Dec 12, 2023 26363
AdminBlog Feb 18, 2024 7036
Adminblogs Jul 19, 2023 6994
Adminblogs Oct 30, 2023 6151
Adminblogs Jan 19, 2024 5673
Adminblogs Aug 11, 2023 3643
लाल
नीला
पीला
हरा
गुलाबी
Vote View Results
Total Vote: 2537
View Options